नेशनल काउंसलिंग फॉर टीचर एजुकेशन (NCTE) ने एक नया पाठ्यक्रम शुरू किया है, जिसे ‘इंटीग्रेटेड टीचर एजुकेशन प्रोग्राम’ कहा जाता है। यह पाठ्यक्रम बीएड की जगह शुरू किया गया है और अब बीएड कोर्स को बंद कर दिया गया है। इस पाठ्यक्रम का मुख्य उद्देश्य उन छात्रों को शिक्षक बनाना है जो 12वीं कक्षा के बाद एक स्नातक की डिग्री प्राप्त करना चाहते हैं।
कोर्स विवरण
यह नया पाठ्यक्रम एक 4 वर्षीय प्रोग्राम है, जिसमें छात्र 12वीं के बाद प्रवेश ले सकते हैं। पाठ्यक्रम के पूरा होने के बाद, छात्र प्राइमरी टीचर बन सकते हैं। यह पाठ्यक्रम नई शिक्षा नीति के अनुसार शुरू किया गया है और इसका महत्वाकांक्षी उद्देश्य है अध्यापन तथा शिक्षण क्षेत्र में नए और योग्य शिक्षकों की आवश्यकता को पूरा करना।
प्रवेश प्रक्रिया
छात्रों को इस पाठ्यक्रम में प्रवेश पाने के लिए प्रत्येक वर्ष एक बार एंट्रेंस एग्जाम का परीक्षण देना होगा। इस परीक्षा में उत्तीर्ण छात्रों को कॉलेज मिलेगा और उन्हें पाठ्यक्रम में प्रवेश दिया जाएगा। इस पाठ्यक्रम को योग्य छात्रों को शिक्षक बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जो शिक्षा के क्षेत्र में अपना करियर बनाना चाहते हैं।
नई शिक्षा नीति का प्रभाव
यह पाठ्यक्रम नई शिक्षा नीति के अनुसार शुरू किया गया है, जिसमें प्राइमरी टीचर बनने के लिए बीएड की जगह आईटीईपी कोर्स को चुनना अनिवार्य होगा। इससे छात्रों को उचित शिक्षा और तकनीकी ज्ञान प्राप्त करने का मौका मिलेगा, जो उन्हें एक योग्य और अच्छे शिक्षक के रूप में तैयार करेगा।
प्रमुख बातें:
- पूर्व शिक्षा में बदलाव: नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन (एनसीटीई) ने एक नया कोर्स लॉन्च किया है जिसे इंटीग्रेटेड टीचर एजुकेशन प्रोग्राम (आईटीईपी) कहा जाता है। यह कोर्स अब बीएड की जगह आया है।
कोर्स का विवरण:
- कोर्स की अवधि: 4 वर्ष
- योग्यता: 12वीं पास
- प्रमुख प्रदान की जाने वाली पदार्थ: प्राइमरी टीचिंग
कोर्स के लाभ:
- प्राइमरी टीचिंग के लिए योग्यता: इस कोर्स को पूरा करने के बाद, उम्मीदवार प्राइमरी स्तर पर शिक्षक बन सकते हैं।
- नई शिक्षा नीति के अनुसार: यह कोर्स नई शिक्षा नीति के अनुसार शुरू किया गया है और प्राइमरी शिक्षक बनने के लिए यह अनिवार्य होगा।
प्रवेश प्रक्रिया:
- एंट्रेंस एग्जाम: प्रवेश के लिए, प्रत्येक वर्ष एक बार एंट्रेंस एग्जाम आयोजित किया जाएगा। एग्जाम के आधार पर छात्रों को कॉलेज अलॉट किया जाएगा।
नवीनतम अपडेट:
- 2030 के बाद अनिवार्य: वर्ष 2030 के बाद, प्राइमरी टीचर बनने के लिए आईटीईपी कोर्स अनिवार्य होगा।
इसलिए, इस नए आईटीईपी कोर्स का लाभ उठाने के लिए, 12वीं के बाद के छात्रों को तैयारी करनी चाहिए। नौकरी के इस रोमांचक और आत्मविश्वास भरे मार्ग पर आगे बढ़ने के लिए अपना सपना पूरा करें!
निष्कर्ष
इस नए पाठ्यक्रम ने शिक्षा के क्षेत्र में नए संभावनाओं का द्वार खोला है। यह छात्रों को एक अनूठा मार्ग प्रदान करता है जो उन्हें एक समृद्ध और सम्मानित करियर की दिशा में आगे बढ़ने में मदद करेगा। इसलिए, छात्रों को अधिसूच
ित वेबसाइट से समय पर आवेदन करना चाहिए और अपने भविष्य को नई और रोशनी में रंगने का अवसर प्राप्त करने के लिए तैयार रहना चाहिए।